उडें जब जब जुल्फें तेरी¶
उडें जब जब जुल्फें तेरी कंवारियों का दिल मचले, जिन्द मेरिये जब ऐसे चिकने चेहरे तो कैसे न नज़र फिसले, जिन्द मेरिये
रुत प्यार करने की आई कि बेरियों के बेर पक गये, जिन्द मेरिये कभी डाल इधर भी फेरा कि तक-तक नैन थक गये, जिन्द मेरिये
उस गाँव पे स्वर्ग भी सदके कि जहाँ मेरा यार बसता, जिन्द मेरिये पानी लेने के बहाने आ जा कि तेरा मेरा एक रस्ता, जिन्द मेरिये
तुझे चाँद के बहाने देखूँ तू छत पर आ जा गोरिये, जिन्द मेरिये अभी छेड़ेंगे गली के सब लड़के के चाँद बैरी छिप जाने दे, जिन्द मेरिये
तेरी चाल है नागन जैसी री जोगी तुझे ले जाएँगे, जिन्द मेरिये जाएँ कहीं भी मगर हम सजना ये दिल तुझे दे जाएँगे, जिन्द मेरिये