कजरारे कजरारे¶
ऐसी नज़र से देखा उस ज़ालिम ने चौक पर हमने कलेजा रख दिया चाकू की नोक पर
मेरा चैन वैन सब उजड़ा ज़ालिम नज़र हटा ले बर्बाद हो रहे हैं जी तेरे अपने शहर वाले ओ मेरी अंगड़ाई ना टूटे तू आजा
कजरारे, कजरारे, तेरे कारे कारे नैना मेरे नैना, मेरे नैना, मेरे नैना जुड़वाँ नैना
सुरमे से लिखे तेरे वादे, आँखों की ज़बानी आते हैं मेरे रूमालों पे लब तेरे, बाँध के निशानी जाते हैं तेरी बातों में किमाम की खुशबू है, तेरा आना भी गर्मियों की लू है
आजा टूटे ना टूटे ना अंगड़ाई, मेरी अंगड़ाई ना टूटे तू आजा कजरारे, कजरारे, तेरे कारे कारे नैना मेरे नैना, मेरे नैना, मेरे नैनों में छुपके रहना
आँखें भी कमाल करती हैं, पर्सनल से सवाल करती हैं पलकों को उठाती भी नहीं, परदे का ख़याल करती है मेरा ग़म तो किसी से भी छुपता नहीं दर्द होता है दर्द जब चुभता नहीं
आजा टूटे ना, टूटे ना अंगड़ाई, मेरी अंगड़ाई ना टूटे तू आजा कजरारे, कजरारे, तेरे कारे कारे नैना तेरे नैना, तेरे नैना, हमें डसते हैं तेरे नैना
तुझसे मिलना पुरानी दिल्ली में, छोड़ आए निशानी दिल्ली में बल्ली मारां से दरीबे तलक, तेरी मेरी कहानी दिल्ली में काली कमली वाले को याद कर के, तेरे काले काले नैनों की कसम खाते हैं तेरे काले काले नैनों की बलाएँ ले लूँ, तेरे काले काले नैनों को दुआएँ दे दूँ
मेरी जान उदास है होंठों पे प्यास है, आजा रे आजा रे आजा रे तेरी बातों में किमाम की खुशबू है, तेर आना भी गर्मियों की लू है
मेरी अंगड़ाई ना टूटे तू आजा कजरारे, कजरारे, तेरे कारे कारे नैना तेरे नैना, तेरे नैना, तेरे नैना जुड़वाँ नैना तेरे नैना, तेरे नैना, तेरे नैनों में छुपके रहना कजरारे, कजरारे, तेरे कारे कारे नैना